Tuesday 8 August 2017

जागो जगदम्ब

जागिये जगदम्बा माय मुख देखूं थारो,
मुख देखूं थारो माँजी कटे संकट म्हारो |
जागिये जगदम्ब माय मुख देखूं थारो ||
झनन-झनन झालर बाजै घुरत हैं नगारा |
ताल तो मृदंग बाजे सेवग आया सारा ||
सूरज तो सतेज उग्यो भयो हैं उजारो |
सेवग आप सरण आया दया दात विचारो ||
अंतर तो अबीर चढ़े भोग लागे मेवा |
बिन्दका सतेज सोहे तेज अम्बा थारो ||
कर जोड़े ईश्वरदास ध्यावे खानाजाद थारो |
अब की वेर उबारो मात आवागमन टारो ||



देखो सूरज की किरणें बिखरने लगी, रंग भरने लगी...
जागो-जागो भवानी सुबह हो गयी...
सुप्रभात मैया 🌄🌄🌴🌿

🌷 श्री बाण भगवत्यै नमः 🌷

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