Thursday, 8 June 2017

श्री बाण माताजी दोहा ०७

⚜ *दोहा :-*
कर (पाद) कमल-नयणी, कमलासन सुर जननी |
माया मया माँ ब्राह्मणी, देवी विमल वर सयणी ||

⚜ *अनुवाद :-*
कमल पुष्प के समान सुंदर सुकोमल हाथ, पाँव और नेत्रो वाली, कमल पद पर आरूढ़, देवताओं को जन्म देने वाली, हे ब्रह्मा की अलौकिक शक्ति ब्राह्मी! कृपा करके हमको मंगलमय पवित्र वर ( आशीर्वाद ) दो ।

🚩 *चित्तौड़गढ़ री राय, सदा सेवक सहाय*


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